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भूमि सीमांकन के दौरान किसान की हार्ट अटैक से हुई मौत, बेटे ने पटवारी पर लगाया आरोप

भोपाल। मध्यप्रदेश में पटवारियों की कहीं गत नहीं है, सीमांकन करो तो बिना सिर पैर के आरोप झेलकर परेशान हो, नहीं करो तो अधिकारीयों ओर नेताओं की प्रताड़ना झेलकर परेशान हो ओर तो ओर अब तो एक नया मामला सामने आया है जहां सीमांकन के दौरान हार्ट अटैक से किसान की मृत्यु होने पर उसके परिजनों ने इसके लिए पटवारी पर आरोप लगाते हुए उसके खिलाफ एफ आई आर दर्ज कर बर्खास्त करने की मांग की है । मामला सागर जिले की बीना तहसील के बेलई गांव का है जहां भूमि सीमांकन के दौरान एक किसान की अचानक अटैक आने से मृत्यु हो गई। मृतक के बेटे का आरोप है कि पटवारी ने सीमांकन में जमीन कम कर दी, जिससे उनके पिता को गहरा सदमा लगा और सीने में दर्द शुरू हो गया, जो कुछ समय बाद उनकी मृत्यु का कारण बना । वहीं पटवारी ने उक्त आदेश को सिरे से नकारते हुए कहा की तहसीलदार के आदेश पर ईटीएस मशीन से सीमांकन किया गया था ओर सही माप किया गया है जिसका डाटा मशीन में सुरक्षित है ।

मृतक के बेटे, अमर राय ने बताया कि बेलई गांव में उनके दो हल्कों की जमीन का पहले भी दो बार सीमांकन हो चुका था, जिसमें कम जमीन मापी गई थी। गुरुवार को फिर से ईटीएस मशीन से सीमांकन किया गया। इस बार भी जमीन कम होने पर उनके पिता विशन राय (42) को अचानक सीने में दर्द हुआ। उन्हें तुरंत सिविल अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। बेटे ने आरोप लगाया कि जमीन कम नापे जाने के कारण उनके पिता को सदमा लगा, जिससे उनकी जान चली गई।

इस मामले में पटवारी राधेश्याम मीणा ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि किसान ने स्वयं सीमांकन के लिए आवेदन किया था और सीएम हेल्पलाइन से संपर्क भी किया था। ईटीएस मशीन से सीमांकन निष्पक्ष रूप से किया गया था, और किसी प्रकार की लापरवाही नहीं बरती गई। जब किसान को सीने में दर्द हुआ, तो उन्हें अस्पताल जाने की सलाह दी गई थी और इलाज के बाद किसी अन्य दिन सीमांकन कराने की बात भी कही गई थी। उन्होंने कहा की ईटीएस मशीन से सीमांकन किया गया था ओर सही माप किया गया है जिसका डाटा मशीन में सुरक्षित है । यदि माप गलत लगती है तो जांच करवा लि जाये, पर बेबुनियाद आरोप लगा कर मानसिक रूप से परेशान ना करें ।

किसान के बेटे से चर्चा करते अधिकारी 

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